महिला एशियाई कप का प्रत्येक मैच करो या मरो का मुकाबला होगा: डेंगमेई ग्रेस

कोच्चि, 20 दिसंबर (फुटबॉल न्यूज़) विंगर डेंगमेई ग्रेस ने कहा है कि भारत अपनी मेजबानी में होने वाले एएफसी महिला एशियाई कप फुटबॉल टूर्नामेंट के प्रत्येक मैच को ‘करो या मरो’ के मुकाबले की तरह लेगा।

भारतीय टीम का ग्रुप ए में चीन, चीनी ताइपे और ईरान के साथ रखा गया है और 20 जनवरी से छह फरवरी तक मुंबई और पुणे में होने वाले 12 देशों के इस टूर्नामेंट के नॉकआउट में जगह बनाना मेजबान टीम के लिए बड़ी उपलब्धि होगी।

एशियाई कप में आस्ट्रेलिया और न्यूजीलैंड की सहमेजबानी में होने वाले विश्व कप 2023 के पांच स्थान दांव पर लगे हैं और भारत इस टूर्नामेंट में अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने का प्रयास करेगा। टूर्नामेंट में हिस्सा ले रहा आस्ट्रेलिया सह मेजबान के रूप में पहले ही फीफा महिला विश्व कप में जगह बना चुका है।

एशियाई कप से पांच टीम को सीधे विश्व कप में प्रवेश मिलेगा जबकि दो टीम अंतर महाद्वीपीय प्ले आफ के जरिए महिला विश्व कप में जगह बना सकती हैं।

डेंगमेई ने कहा कि वे एक बार में एक मैच पर ध्यान देने की मानसिकता के साथ उतरेंगे।

उन्होंने कहा, ‘‘यह सही समय है कि हम अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करें। हमारे लिए प्रत्येक मैच करो या मरो के मुकाबले की तरह होगा। प्रत्येक मैच हमारे लिए मौका होगा।’’

डेंगमेई ने अखिल भारतीय फुटबॉल महासंघ (एआईएफएफ) की विज्ञप्ति में कहा, ‘‘हमारे ग्रुप में ईरान, चीनी ताइपे और चीन सभी कड़ी टीम हैं और हम एक बार में एक मैच पर ध्यान लगाएंगे।’’

चीन ग्रुप ए में 19 वें स्थान के साथ शीर्ष रैंकिंग वाली टीम है जबकि उसके बाद चीनी ताइपे (39), भारत (55) और ईरान (70) का नंबर आता है। भारत ने हाल में चीनी ताइपे और ईरान को हराया है।

टूर्नामेंट में तीन ग्रुप बनाए गए हैं और प्रत्येक से शीर्ष दो टीम और तीसरे स्थान की दो सर्वश्रेष्ठ टीम क्वार्टर फाइनल में प्रवेश करेंगी।

डेंगमेई ने कहा कि युवा खिलाड़ी टीम में जगह बनाने के लिए कड़ी मेहनत कर रही हैं। एशियाई कप के लिए कोच्चि में चल रहे भारतीय टीम के शिविर में कई युवा खिलाड़ियों को शामिल किया गया है। शिविर में हिस्सा ले रही 27 खिलाड़ियों में से 13 की उम्र 25 साल से कम है।

डेंगमेई ने कहा, ‘‘टीम में काफी युवा खिलाड़ी हैं और वे सभी एशियाई कप की टीम में जगह बनाने के लिए कड़ी मेहनत कर रही हैं। हमारे पास कई ऐसी युवा खिलाड़ी भी हैं जो अंडर-17 टीम का भी हिस्सा हैं जिसमें सिल्की (देवी), एस्टम (आराओन), मार्टिना (थोकचोम) और कुछ अन्य खिलाड़ी शामिल हैं जो टीम में काफी उर्जा लेकर आती हैं। ’’

टीम में इतनी संख्या में युवा खिलाड़ियों की मौजूदगी का मतलब है कि अधिक अनुभवी खिलाड़ी मैदान के अंदर और बाहर उनकी मदद के लिए तैयार हैं।

पच्चीस साल की इस खिलाड़ी ने कहा, ‘‘हम हमेशा एक-दूसरे की मदद करते हैं, यह अभ्यास हो या मैदान के बाहर। सीनियर खिलाड़ी के रूप में हम जूनियर खिलाड़ियों की मदद करते हैं अगर वे कोई गलती करते हैं तो।’’

डेंगमेई ने कहा, ‘‘हम विभिन्न जिम्मेदारियां लेने के लिए उन्हें प्रोत्साहित करते हैं और उनकी मदद करते हैं।’’

भाषा 

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