नयी दिल्ली, 21 सितंबर (भाषा) भारत को डेविस कप के विश्व ग्रुप एक प्लेऑफ के ड्रा में फिर पाकिस्तान के साथ रखा गया है और पाकिस्तान टेनिस महासंघ (पीटीएफ) ने गुरुवार को स्पष्ट किया कि वह इस दफा अपने घरेलू मुकाबले को तटस्थ स्थल पर स्थानांतरित करने पर सहमत नहीं होगा।
भारत को 2019 ड्रा में भी पाकिस्तान के साथ रखा गया था लेकिन ‘सुरक्षा चिंताओं’ के कारण एशिया/ओसियाना ग्रुप एक मुकाबले को तटस्थ स्थल कजाखस्तान स्थानांतरित कर दिया गया था।
विरोधस्वरूप पाकिस्तान के शीर्ष खिलाड़ी ऐसाम उल हक और अकील खान ने इस मैच में नहीं खेलने का फैसला किया था जिसमें उदीयमान मोहम्मद शोएब, हुजाइफा अब्दुल रहमान और यूसुफ खलील उसके लिए खेले थे।
भारत ने तब कमजोर पाकिस्तान को 4-0 से हरा दिया था। इस एकतरफा मुकाबले में पाकिस्तान ने पूरे मुकाबले में केवल सात गेम ही जीते थे।
आईटीएफ 2019 में इस मुकाबले को तटस्थ स्थल पर स्थानांतरित करने के लिए सहमत हो गया था लेकिन अखिल भारतीय टेनिस संघ (एआईटीए) अगर तटस्थ स्थल के लिए जोर देता है तो राष्ट्रीय संस्था के लिए विश्व संचालन संस्था को अपनी बात समझाना बहुत मुश्किल हो जायेगा।
पाकिस्तान के अनुभवी खिलाड़ी अकील खान ने पीटीआई को बताया कि वे उम्मीद कर रहे हैं कि भारतीय टीम मुकाबले के लिए उनके देश की यात्रा करेगी।
अकील (43 वर्ष) ने कहा, ‘‘मैं उम्मीद कर रहा हूं कि वे आयेंगे और हमें मेजबानी का मौका देंगे। ’’
कुरैशी ने कहा, ‘‘उम्मीद करते हैं कि इस बार यह मुकाबला पाकिस्तान में ही खेला जायेगा। ’’
पाकिस्तान ने पिछले हफ्ते इंडोनेशिया को विश्व ग्रुप दो मुकाबले में घरेलू कोर्ट पर इंडोनेशिया केा 4-0 से हराया था।
पीटीएफ अध्यक्ष सलीम सैफुल्लाह खान ने कहा कि वे भारत की मेजबानी ग्रास कोर्ट पर करेंगे।
उन्होंने पीटीआई से कहा, ‘‘उन्हें पाकिस्तान आना चाहिए। यह ठीक नहीं है कि वे पाकिस्तान नहीं आते। भारतीय टीम हमसे काफी बेहतर है। स्टेडियम के करीब ही हमारे पास अच्छे होटल हैं। अगर भारतीय आते हैं तो यह अच्छा संदेश जायेगा कि हम अच्छे पड़ोसी हैं। ’’
अगर भारत यात्रा करने का फैसला करता है तो यह 59 वर्षों में सीमा पार खेलने वाली पहली डेविस कप टीम बन जायेगी और टीम टूर्नामेंट के इतिहास में ऐसा केवल तीसरी बार होगा।
पिछली बार भारत की डेविस कप टीम ने 1964 में पाकिस्तान का दौरा किया था जब मेहमान टीम ने मेजबानों को 4-0 से शिकस्त दी थी।
रामनाथन कृष्णन की अगुआई में भारतीय टीम ने पहली बार 1962 में पाकिस्तान का दौरा किया था।
पाकिस्तान तीन दफा भारत आ चुका है लेकिन भारत ने दोनों देशों के बीच आठ डेविस कप मुकाबलों में कभी भी एक मैच भी नहीं गंवाया है।
सैफुल्लाह ने कहा, ‘‘हमने लिथुआनिया, स्लोवेनिया, कोरिया, ईरान, थाईलैंड की मेजबानी की है। ये सभी देश यहां आकर खेले और उन्हें कोई परेशानी नहीं हुई। ’’
उन्होंने कहा, ‘‘हम तटस्थ स्थल पर नहीं खेलेंगे। अगर भारत नहीं आना चाहता तो हम यह मुकाबला नहीं खेलेंगे। हम ग्रास कोर्ट पर खेलेंगे और भारतीय टीम काफी बेहतर टीम है। फरवरी-मार्च में इस्लामाबाद का मौसम सुहावना होता है। ’’
यह पूछने पर कि भारतीय टीम क्या पाकिस्तान का दौरा करेगी तो एआईटीए के महासचिव अनिल धूपर ने पीटीआई से कहा, ‘‘अभी इस पर टिप्पणी करना जल्दबाजी होगी। ’’
धूपर मेक्सिको के कानकुन में आईटीएल की आम सालाना बैठक के लिए पहुंच गये हैं। उन्होंने वहां से कहा, ‘‘हमें अभी तक आईटीएफ से पत्र नहीं मिला है। इसे मिलने के बाद ही हम पिछली बार की तरह विदेश मंत्रालय से मंजूरी लेंगे। ’’
Source: PTI News